देहरादून, 19 जून 2025
देहरादून के क्लेमेनटाउन छावनी क्षेत्र में अवैध निर्माणों पर अब प्रशासन का डंडा चलने वाला है। छावनी परिषद ने द्वारिकापुरी कॉलोनी में 17 अवैध भवनों की पहचान कर उन्हें लाल निशान से चिन्हित कर दिया है। इन भवनों के मालिकों को दो सप्ताह के भीतर निर्माण हटाने का नोटिस जारी किया गया है। तय समय में कार्रवाई नहीं हुई तो बुलडोजर चलाकर निर्माण ध्वस्त किया जाएगा और जुर्माना भी वसूला जाएगा।
अवैध निर्माण की होगी धज्जियां — बोर्ड ने शुरू की पुख्ता तैयारी
क्लेमेनटाउन छावनी बोर्ड की हालिया बैठक में यह मुद्दा प्रमुखता से उठा कि बड़ी संख्या में बिना नक्शा स्वीकृति के आवासीय व व्यावसायिक भवन तैयार हो चुके हैं। यह न केवल नियमों की अवहेलना है, बल्कि इससे सरकारी राजस्व को भारी नुकसान भी हो रहा है।
इसके बाद परिषद ने पूरे छावनी क्षेत्र में अवैध निर्माण की पहचान का अभियान शुरू किया। बुधवार को बोर्ड की टीम ने मोरोवाला स्थित द्वारिकापुरी कॉलोनी में अभियान चलाकर 17 निर्माणाधीन और तैयार भवनों पर लाल निशान लगाए।
❝पूर्व में भी नोटिस दिए गए थे, लेकिन कोई असर नहीं हुआ। अब अगर तय समय सीमा में निर्माण नहीं हटाया गया, तो कार्रवाई तय है।❞
— छावनी परिषद अधिकारी
धानचाक, दौड़वाला, मोथरोवाला सहित कई इलाकों में भी गूंजेगा बुलडोजर
केवल द्वारिकापुरी ही नहीं, छावनी परिषद की नजर अब छोटा भारुवाला, मोरोवाला, चानचक, दौड़वाला, मोथरोवाला, इंद्रपुरी और सोसायटी एरिया पर भी है। यहां बीते दो वर्षों में तेजी से अवैध भवन और दुकानें बनी हैं। प्रशासन ने चेताया है कि इन क्षेत्रों में भी जल्द ही चिह्नांकन और ध्वस्तीकरण की कार्रवाई शुरू की जाएगी।
जुर्माने की चेतावनी और अंतिम नोटिस जारी
बोर्ड की कार्रवाई से प्रभावित दो प्रमुख भवन स्वामियों — सुशील कुमार अग्रवाल (लक्ष्मण चौक) और अख्तरी बेगम पत्नी लियाकत अली (छोटा भारुवाला) — को अंतिम नोटिस जारी किया गया है। अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि यदि एक सप्ताह के भीतर अतिक्रमण नहीं हटाया गया तो सीधे बुलडोजर चलाया जाएगा, साथ ही कार्रवाई का खर्च भी जुर्माने के रूप में वसूला जाएगा।
परिषद सदस्य का बयान: कार्रवाई जारी रहेगी
❝छावनी क्षेत्र में नियमों को ताक पर रखकर हो रहे अवैध निर्माण को किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। जिन भवनों पर लाल निशान लगे हैं, वे अंतिम चेतावनी के दायरे में हैं।❞
— भूपेंद्र सिंह कंडारी, सदस्य, क्लेमेनटाउन छावनी परिषद
पड़ताल जरूरी: सवाल जो उठ रहे हैं…
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क्या नगर विकास विभाग की निगरानी में खामियां रही हैं?
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इतने बड़े पैमाने पर अवैध निर्माण वर्षों से कैसे चलते रहे?
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क्या यह अतिक्रमण माफिया और प्रशासनिक मिलीभगत का मामला है?
आगामी सप्ताह निर्णायक साबित हो सकता है — जहां छावनी परिषद बुलडोजर से अवैध निर्माण मिटाएगी, वहीं भवन स्वामी राहत पाने के लिए हर संभव कोशिश में जुट सकते हैं।