BREAKING

देहरादून में बड़ी कार्रवाई: फर्जी दस्तावेज पर रह रहा बांग्लादेशी नागरिक गिरफ्तार, महिला भी पकड़ी गई

 तारीख– 21 नवंबर 2025 |  स्थान– देहरादून, उत्तराखंड

 देहरादून में फर्जी पहचान कांड का खुलासा

देहरादून पुलिस ने बुधवार को एक बड़ी कार्रवाई करते हुए फर्जी दस्तावेजों के सहारे भारत में रह रहे एक बांग्लादेशी युवक और उसकी मददगार महिला को गिरफ्तार कर लिया। दोनों पिछले कई वर्षों से देहरादून में नकली पहचान का इस्तेमाल कर रह रहे थे और नौकरी भी कर रहे थे।


 फेसबुक पर दोस्ती से शुरू हुई कहानी

पुलिस के अनुसार गिरफ्तार युवक का वास्तविक नाम ममून हसन, निवासी मेहरपुर, बांग्लादेश है, जबकि उसकी साथी महिला रीना चौहान, निवासी त्यूणी (उत्तरकाशी) है।

फेसबुक पर दोनों की पहचान हुई और दोस्ती बढ़ते-बढ़ते रिश्ते में बदल गई।


 तीन बार टूरिस्ट वीजा से आया भारत, फिर अवैध प्रवेश

जांच में सामने आया कि ममून 2019 से 2021 के बीच तीन बार टूरिस्ट वीजा पर भारत आया। इसी दौरान वह रीना से मिलता रहा।
वर्ष 2022 में ममून, रीना को अवैध रूप से सीमा पार कराकर बांग्लादेश ले गया, जहां दोनों ने निकाह किया।

इसके बाद दोनों बिना वैध दस्तावेज के दोबारा भारत में घुस आए और देहरादून में किराए के कमरों में रहने लगे।


 महिला ने बनवाए फर्जी दस्तावेज — बना दिया ‘सचिन चौहान’

रीना ने अपने पूर्व पति सचिन चौहान के नाम पर ममून के लिए—

  • फर्जी आधार कार्ड

  • फर्जी पैन कार्ड

  • और अन्य पहचान पत्र

तैयार करवाए।
इन्हीं दस्तावेजों की मदद से ममून देहरादून के एक क्लब में बाउंसर की नौकरी कर रहा था—वह भी सचिन चौहान बनकर।


 पुलिस की कार्रवाई और बरामदगी

नेहरू कॉलोनी थाना और एलआईयू की टीम ने इनपुट मिलते ही छापेमारी की।
दोनों को गिरफ्तार कर लिया गया और उनके पास से सभी फर्जी दस्तावेज बरामद किए गए।


 ऑपरेशन कालनेमि के तहत लगातार कार्रवाई

देहरादून पुलिस “ऑपरेशन कालनेमि” के तहत अवैध घुसपैठियों पर लगातार अभियान चला रही है। अब तक—

  • 16 बांग्लादेशी नागरिकों पर कार्रवाई

    • 9 को डिपोर्ट किया गया

    • 7 को जेल भेजा गया


 आगे की जांच जारी

पुलिस अब यह पता लगाने में जुटी है कि फर्जी दस्तावेज तैयार कराने में और कौन-कौन शामिल था। दस्तावेज बनाने वाले नेटवर्क की तलाश भी की जा रही है।


 निष्कर्ष

देहरादून में पकड़ा गया यह मामला पुलिस की चौकसी और सोशल मीडिया के दुरुपयोग का बड़ा उदाहरण है। अवैध तरीके से देश में प्रवेश, फर्जी पहचान बनाना और नौकरी करना एक गंभीर सुरक्षा खतरा है। पुलिस की कार्रवाई से ऐसे नेटवर्क पर अंकुश लगता दिख रहा है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *