देहरादून, 10 जून 2025
उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में पानी की गंभीर समस्या ने एक बार फिर से क्षेत्रवासियों का ध्यान आकर्षित किया है। आज सुबह, बद्रीश कॉलोनी कल्याण समिति द्वारा जल संकट से निपटने के लिए एक महत्वपूर्ण प्रदर्शन किया गया, जिसमें उन्होंने उत्तराखंड जल संस्थान के मुख्य महाप्रबंधक का घेराव किया और अपनी समस्याओं के समाधान की मांग की।
**प्रदर्शन का मुख्य उद्देश्य और घटनाक्रम**
बद्रीश कॉलोनीवासियों की शिकायत है कि पिछले कई दिनों से यहाँ जल आपूर्ति बाधित है, जिससे जीवन सामान्य से बहुत दूर हो गया है। जल संकट के मद्देनजर, कॉलोनी के वरिष्ठ सदस्यों और हजारों लोगों ने जल संस्थान कार्यालय पहुंचकर मुख्य महाप्रबंधक का घेराव किया। इस प्रदर्शन में शामिल प्रमुख नेताओं में चित्रपाल सजवाण, दिनेश चंद्र काला, के पी उनियाल, अशोक बलूनी, आनंद रावत, राजेंद्र रावत, राजेंद्र भट्ट, ओम प्रकाश त्रिवेदी, श्रीमती मीनू सुंदरियाल, अनुराधा बागड़ी सहित स्थानीय सामाजिक कार्यकर्ता और आम नागरिक शामिल रहे।
**मुख्य महाप्रबंधक का आश्वासन और आगे की योजना**
प्रदर्शन के दौरान, जल संस्थान के मुख्य महाप्रबंधक ने आश्वासन दिया कि समस्या का समाधान सुनिश्चित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि “हम 15 दिनों के भीतर इस पानी की समस्या का समाधान कर देंगे। हमारी टीम इस दिशा में प्रयासरत है, और समस्या के स्थायी समाधान के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए जाएंगे।” उन्होंने यह भी कहा कि संबंधित विभाग हर संभव प्रयास कर रहा है ताकि जल आपूर्ति सुचारू रूप से बहाल हो सके।
**प्रशासनिक प्रतिक्रिया और जनता की अपेक्षाएं**
प्रदर्शन के बाद, स्थानीय प्रशासन और जल संस्थान ने आश्वासन दिया कि वे जल्द से जल्द जल संकट को समाप्त करने के लिए कदम उठाएंगे। कॉलोनीवासियों ने भी उम्मीद जताई है कि जल आपूर्ति की समस्या शीघ्र ही हल हो जाएगी, ताकि उनके जीवन में फिर से सामान्यता लौट सके।
**आगे की योजना और जनाकांक्षाएँ**
बद्रीश कॉलोनी के निवासी इस मुद्दे के समाधान को लेकर काफी जागरूक हैं और उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि समस्या का तुरंत समाधान नहीं हुआ तो वे और बड़े आंदोलन कर सकते हैं। जल संकट से जूझ रहे इस क्षेत्र में प्रशासन की तत्परता और जनता की मेहनत से उम्मीद जगी है कि जल्द ही जल की समस्या का स्थायी समाधान हो सकेगा।
**निष्कर्ष**
यह प्रदर्शन एक बार फिर से स्पष्ट करता है कि स्थानीय जनता अपनी मूल आवश्यकताओं के लिए कितनी जागरूक और सतर्क है। प्रशासन को चाहिए कि वे जल संकट को गंभीरता से लें और जल्द से जल्द प्रभावी कदम उठाएं, ताकि जनता को राहत मिल सके। जल संस्थान और स्थानीय प्रशासन की तत्परता से ही इस समस्या का स्थायी समाधान संभव है।