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थानों वन रेंज में दर्दनाक हादसा, हाथी ने 12 वर्षीय बच्चे को सूंड से खींचकर पटककर मार डाला

तारीख: 27 नवंबर 2025 | स्थान: थानो वन रेंज, देहरादून

देहरादून के थानों वन रेंज में गुरुवार शाम एक दर्दनाक हादसा हो गया, जिसने पूरे क्षेत्र को दहला दिया। कालू सिद्ध मंदिर के पास जंगल क्षेत्र में एक हाथी ने स्कूटी पर जा रहे दंपती के 12 वर्षीय बेटे को सूंड से खींचकर पटक दिया, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई।


कैसे हुआ हादसा

घटना शाम करीब 4:15 बजे की है।
कोठारी मोहल्ला, जौलीग्रांट निवासी कमल थापा, उनकी पत्नी नीलम थापा और उनका बेटा कुणाल थापा (12) स्कूटी से कालू सिद्ध मंदिर की ओर जा रहे थे। कुणाल स्कूटी में बीच की सीट पर बैठा था।


अचानक जंगल से निकला हाथी

कालू सिद्ध मंदिर से कुछ दूरी पहले, थानों वन रेंज के घने जंगल में अचानक एक जंगली हाथी उनके सामने आ गया।
हाथी ने स्कूटी को निशाना बनाते हुए बीच में बैठे कुणाल को सूंड से पकड़कर नीचे खींच लिया।

प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार हाथी ने बच्चे को ज़मीन पर इतनी ज़ोर से पटका कि उसकी मौके पर ही मौत हो गई।


माता-पिता ने बचाई जान, हाथी खड़ा देखता रहा

कमल और नीलम ने किसी तरह अपनी जान बचाकर दूरी बनाई।
लेकिन हाथी कुछ देर तक वहीं खड़ा रहा और आगे बढ़ने से पहले किसी तरह नहीं हट रहा था।


पिता ने जलती आग से भगाया हाथी

आसपास पड़ी लकड़ियों की मदद से कमल थापा ने आग जलाई और हाथी को दूर भगाने में कामयाब हुए।
उसके बाद घायल बेटे को उठाकर वे तुरंत जौलीग्रांट अस्पताल पहुंचे।


अस्पताल में डॉक्टरों ने की मौत की पुष्टि

अस्पताल पहुंचते ही डॉक्टरों ने कुणाल को मृत घोषित कर दिया।
जानकारी मिलते ही अस्पताल में भीड़ इकट्ठा हो गई।
परिवार, रिश्तेदार और मोहल्ले के लोगों का रो-रोकर बुरा हाल है।


वन विभाग और स्थानीय प्रशासन में हड़कंप

घटना की सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम मौके पर रवाना हुई।
थानों रेंज में पिछले कुछ समय से हाथियों की बढ़ी आवाजाही को लेकर स्थानीय लोग चिंता ज़ाहिर करते रहे हैं।
अब इस हादसे ने मानव-वन्यजीव संघर्ष पर फिर सवाल खड़े कर दिए हैं।


निष्कर्ष

थानों वन रेंज में हुआ यह हादसा एक बार फिर साबित करता है कि जंगली जानवरों वाले क्षेत्रों में सुरक्षा उपायों और निगरानी को मजबूत करना बेहद जरूरी है।
स्थानीय लोगों ने प्रशासन से मांग की है कि संवेदनशील क्षेत्रों में चेतावनी बोर्ड, निगरानी टीम और उचित बैरिकेडिंग की व्यवस्था की जाए, ताकि ऐसी हृदयविदारक घटनाओं को रोका जा सके।

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