स्थान: मोहब्बेवाला, देहरादून | तारीख: शुक्रवार, 05 दिसम्बर 2025
देहरादून के मोहब्बेवाला इलाके में शुक्रवार सुबह लगभग 8:30 बजे एक बार फिर दिल दहला देने वाला सड़क हादसा हुआ। मोहंड की ओर से आ रहा एक सीमेंट से भरा तेज़ रफ्तार ट्रक अचानक अनियंत्रित हो गया और उसने तीन-चार कार, एक विक्रम टेंपो समेत कुल छह वाहनों को जोरदार टक्कर मार दी। इसके बाद ट्रक सड़क किनारे नाले की दीवार तोड़ते हुए एक तरफ झुक गया।
हादसे के बाद मचा हड़कंप, कई दुकानें क्षतिग्रस्त
ट्रक की टक्कर इतनी तेज़ थी कि आसपास मौजूद कई दुकानों के शटर व बोर्ड टूट गए। भले ही हादसा भयानक था, लेकिन गनीमत रही कि कोई गंभीर रूप से घायल नहीं हुआ।
नाले में गिरने से ट्रक से डीजल रिसाव शुरू हो गया, जिससे भारी आग लगने की आशंका बन गई थी।
पुलिस, यातायात विभाग और फायर ब्रिगेड की त्वरित कार्रवाई
जैसे ही सूचना मिली, मौके पर सीओ सदर अंकित कंडारी, स्थानीय थानों की पुलिस, यातायात विभाग की टीम और फायर ब्रिगेड तुरंत पहुंच गई।
डीजल रिसाव पर नियंत्रण कर इलाके को सुरक्षित किया गया। भीड़ और वाहनों को इलाके से दूर किया गया।
करीब ढाई घंटे की मशक्कत के बाद सड़क दोबारा यातायात के लिए खोल दी गई।
चालक ने बताया—नींद का झोंका बना हादसे की वजह
पुलिस की प्रारंभिक जांच में सामने आया कि घटना के समय ट्रक चालक को नींद की झपकी आ गई थी।
चालक ने बताया कि उसने सामने एक ट्रक को बैक होते देखा, घबराहट में उसने ब्रेक लगाने की कोशिश की, लेकिन तेज़ रफ्तार के कारण नियंत्रण खो बैठा।
ट्रक का एक पहिया नाले में गिरा और वह एक तरफ झुक गया, जिससे दीवार भी टूट गई।
एसपी ट्रैफिक लोकजीत सिंह ने बताया कि सूचना मिलते ही यातायात टीम को तत्काल लगाया गया और सड़क को जल्द से जल्द क्लियर कराया गया।
एक्सप्रेसवे एंट्री पॉइंट बन चुका है हादसों का हॉटस्पॉट
मोहब्बेवाला क्षेत्र पिछले कई महीनों से लगातार सड़क हादसों का केंद्र बना हुआ है।
एक्सप्रेसवे से तेज़ रफ्तार में देहरादून में प्रवेश करने वाले वाहनों का संतुलन अक्सर बिगड़ जाता है, जिससे बड़े हादसे हो जाते हैं।
स्थानीय लोगों और पुलिस का कहना है कि—
-
पिछले डेढ़ साल में आधा दर्जन से अधिक बड़े हादसे
-
कई लोगों की मौत
-
दर्जनों घायल
-
दुकानें और निजी संपत्ति को बार-बार नुकसान
यहां सख्त गति सीमा, स्पीड कंट्रोलर, और सुरक्षा उपायों की लंबे समय से मांग की जा रही है।
निष्कर्ष
मोहब्बेवाला क्षेत्र में हुए इस ताज़ा हादसे ने एक बार फिर यह साबित कर दिया कि तेज़ रफ्तार और नींद की झपकी मिलकर जानलेवा साबित हो सकती है।
लगातार बढ़ते हादसे इस बात का स्पष्ट संकेत हैं कि एक्सप्रेसवे एंट्री पॉइंट पर कड़े यातायात नियम, गति नियंत्रण, और इंफ्रास्ट्रक्चर सुधार की सख्त जरूरत है।
स्थानीय निवासियों का कहना है कि जब तक प्रशासन स्थायी समाधान नहीं करेगा, इस तरह की दुर्घटनाओं का सिलसिला रुकना मुश्किल है।


